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UP Boring Yojana: यूपी के किसान फ्री में करवा सकते हैं बोरिंग, जानें ऑनलाइन आवेदन प्रक्रिया

By Uvaid Aalam

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UP Boring Yojana

UP Boring Yojana : उत्तर प्रदेश सरकार ने राज्य के किसानों को राहत देने के लिए एक बड़ी योजना की शुरुआत की है। इस योजना का नाम है “यूपी बोरिंग योजना”। इसके तहत किसान अपने खेतों में फ्री में बोरिंग करवा सकते हैं, जिससे उन्हें सिंचाई के लिए पानी की दिक्कत नहीं झेलनी पड़ेगी। यह योजना उन किसानों के लिए है जिनके पास सीमित संसाधन हैं और जो सिंचाई की सुविधा न होने के कारण फसल की पैदावार कम होने की परेशानी झेलते हैं।

क्या है UP Boring Yojana और इसका मकसद?

यूपी बोरिंग योजना का मुख्य उद्देश्य छोटे और मध्यम वर्ग के किसानों को खेतों में पानी की सुविधा उपलब्ध कराना है। बारिश पर निर्भर खेती करने वाले किसानों को अक्सर सूखे का सामना करना पड़ता है, जिससे उनकी फसल बर्बाद हो जाती है। इस योजना के जरिए किसानों को उनके खेत में ट्यूबवेल लगवाने के लिए सरकार आर्थिक सहायता देती है या पूरी बोरिंग का खर्च उठाती है।

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किन किसानों को मिलेगा योजना का लाभ? जानिए पात्रता की शर्तें

इस योजना का लाभ वही किसान उठा सकते हैं जिनके पास खुद की जमीन है और जिनकी आय का मुख्य स्रोत कृषि है। यूपी सरकार की शर्तों के अनुसार, किसान उत्तर प्रदेश का स्थायी निवासी होना चाहिए और उसके पास कृषि भूमि के वैध दस्तावेज़ होने चाहिए। इसके अलावा किसान का नाम किसान रजिस्ट्रेशन पोर्टल पर भी दर्ज होना जरूरी है।

आवेदन की प्रक्रिया हुई आसान, अब ऑनलाइन भरें फॉर्म

अब किसानों को योजना का लाभ लेने के लिए सरकारी दफ्तरों के चक्कर नहीं लगाने होंगे। आवेदन की प्रक्रिया पूरी तरह ऑनलाइन कर दी गई है। किसान यूपी सरकार के कृषि विभाग की आधिकारिक वेबसाइट पर जाकर इस योजना के लिए आवेदन कर सकते हैं। आवेदन करते समय जमीन के कागजात, आधार कार्ड, बैंक पासबुक, फोटो और मोबाइल नंबर जैसे दस्तावेज़ों की जरूरत होती है।

ऑनलाइन आवेदन की तारीख और जरूरी जानकारी

योजना के लिए आवेदन शुरू हो चुके हैं और सरकार की ओर से स्पष्ट किया गया है कि आवेदन पहले आओ-पहले पाओ के आधार पर स्वीकार किए जाएंगे। इसलिए जो भी किसान इस योजना का लाभ उठाना चाहते हैं, उन्हें जल्द से जल्द आवेदन कर देना चाहिए। किसी भी तरह की गड़बड़ी से बचने के लिए फॉर्म भरते समय सभी जानकारी सही-सही भरनी जरूरी है।

बोरिंग कराने के बाद किसानों को क्या मिलेगा?

जिन किसानों का चयन इस योजना के तहत किया जाएगा, उनके खेत में सरकार की मदद से बोरिंग करवाई जाएगी और हैंडपंप या ट्यूबवेल लगाया जाएगा। कुछ जिलों में बिजली कनेक्शन की भी सुविधा दी जा रही है, ताकि मोटर पंप के जरिए सिंचाई की जा सके। इससे खेती करना और भी आसान हो जाएगा और किसानों की लागत भी घटेगी।

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किन जिलों में लागू है यह योजना?

फिलहाल यह योजना उत्तर प्रदेश के लगभग सभी जिलों में लागू की जा रही है, लेकिन प्राथमिकता उन जिलों को दी जा रही है जहां पर सिंचाई की सुविधा बहुत कम है। बुंदेलखंड और पूर्वांचल के कई जिलों में इसका प्रभावी रूप से क्रियान्वयन किया जा रहा है। जिला स्तर पर कृषि विभाग की टीमें किसानों को योजना की जानकारी दे रही हैं और आवेदन करने में भी मदद कर रही हैं।

योजना से कितने किसानों को होगा फायदा?

सरकारी आंकड़ों के अनुसार, पहले चरण में करीब 20,000 किसानों को इस योजना का लाभ मिलेगा। सरकार का लक्ष्य है कि अगले दो साल में 1 लाख से अधिक किसानों तक यह सुविधा पहुंचाई जाए। इससे खेती की लागत घटेगी और उत्पादन में बढ़ोतरी होगी, जिससे किसान की आमदनी भी बढ़ेगी।

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